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उत्तराखंड के समृद्ध लोक संस्कृति और सांस्कृतिक लोक विरासत के प्रतीक है परंपरागत मेले -सीएम धामी

 

केदारखंड में धार्मिक एवं सांस्कृतिक केंद्रों का हो रहा चौमुखी विकास, मानसखंड के प्राचीन मंदिरों और तीर्थ स्थानों को भी दिए जाएंगे नए आयाम–सीएम धामी

मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने आज चौखुटिया, अल्मोड़ा में आयोजित चैत्रा अष्टमी मेला 2025 में प्रतिभाग किया। इस अवसर पर रामगंगा नदी के तट पर विराजमान मां अगनेरी धाम में पूजा अर्चना कर समस्त प्रदेशवासियों की सुख समृद्धि के लिए कामना की।
इस अवसर पर मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने कहा कि हमारे परंपरागत मेले उत्तराखंड के समृद्ध लोक संस्कृति और सांस्कृतिक विरासत के प्रतीक है । यह केवल उत्सव नहीं बल्कि हमारी अस्मिता परंपरा और लोग जीवन का जीवंत प्रमाण है। उन्होंने कहा कि हम विकास में भेदभाव नहीं करते और आदरणीय प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के मार्गदर्शन में सबका साथ, सबका विकास, सबका विश्वास और सबका प्रयास के मंत्र को आधार बनाकर माणा- मलारी से लेकर आदि कैलाश तक उत्तराखंड के कोने कोने में समावेशी और संतुलित विकास कार्यों को गति दे रहे हैं। जिस प्रकार केदारखंड में धार्मिक एवं सांस्कृतिक केंद्रो का चौमुखी विकास हो रहा है उसी प्रकार अब मानसखंड के प्राचीन मंदिरों और तीर्थस्थानो को भी नए आयाम दिए जा रहे हैं।

इसके बाद मुख्यमंत्री मेले के मंच पर पहुंचे, जहां क्षेत्रवासियों ने उनका भव्य स्वागत किया। जनसभा को संबोधित करते हुए उन्होंने कहा कि मां अग्नेरी केवल गैवाड़ क्षेत्र की रक्षक ही नहीं, बल्कि कत्यूर वंश की कुलदेवी भी हैं। यह मेला धार्मिक अनुष्ठानों तक सीमित नहीं है, बल्कि लोककला, संस्कृति और परंपराओं को संरक्षित करने के साथ-साथ सामाजिक जागरूकता का भी सशक्त माध्यम बन चुका है। इस अवसर पर पर्यावरण संरक्षण, बेटी बचाओ-बेटी पढ़ाओ, नशा उन्मूलन और जैविक खेती से जुड़े नाटकों व झांकियों का भी प्रदर्शन किया गया। इस दौरान मुख्यमंत्री ने यहां आयोजित चैत्र अष्टमी मेले के लिए 5 लाख रुपए देने की भी घोषणा की।

मुख्यमंत्री ने कहा कि उत्तराखंड पहला राज्य है जिसने समान नागरिक संहिता (यूसीसी) लागू कर ऐतिहासिक कदम उठाया। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के मार्गदर्शन में राज्य सरकार विभिन्न नवाचारों को आगे बढ़ा रही है। प्रधानमंत्री ग्राम सड़क योजना के तहत क्षेत्र की 28 सड़कों को स्वीकृति मिली है, जो विकास में मील का पत्थर साबित होंगी।
उन्होंने कहा कि सरकार सुदूर क्षेत्रों तक सड़क, शिक्षा, स्वास्थ्य और पेयजल सुविधाएं पहुंचाने के साथ-साथ धार्मिक संस्कृति के संवर्धन पर भी कार्य कर रही है। मानसखंड मंदिर माला मिशन के तहत धार्मिक पर्यटन को बढ़ावा दिया जा रहा है। भैरवनाथ मंदिर नवागाड़ी, भैरव मंदिर पांडुखाल और मां नंदा देवी कोटियाताल को धार्मिक पर्यटन स्थल के रूप में विकसित किया जाएगा।

मुख्यमंत्री की घोषणाएं
मुख्यमंत्री ने इस अवसर पर क्षेत्र के लिए कई घोषणाएं कीं
चौखुटिया महाविद्यालय में अगले सत्र से स्नातकोत्तर स्तर पर अर्थशास्त्र और अंग्रेजी विषय की कक्षाएं प्रारंभ होंगी, साथ ही स्नातक स्तर पर विज्ञान विषय जोड़ा जाएगा।
द्वाराहाट क्षेत्र की पेयजल समस्या के समाधान के लिए प्राकृतिक जलस्रोतों के पुनर्जीवन हेतु वैज्ञानिक कार्ययोजना तैयार की जाएगी और गगास नदी में छोटे चेक डैम बनाए जाएंगे।
राष्ट्रीय राजमार्गों का विकास, जिसमें ज्योलीकोट, भवाली, खैरना, मजखाली, द्वाराहाट, चौखुटिया और कर्णप्रयाग मार्गों का कार्य जल्द शुरू किया जाएगा।
चौखुटिया सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र की क्षमता 30 से बढ़ाकर 50 बेड की जाएगी और डिजिटल एक्स-रे मशीन उपलब्ध कराई जाएगी।
अग्नेरी मंदिर परिसर में रामगंगा नदी पर तटबंधों का निर्माण किया जाएगा।
शहीदों और स्वतंत्रता सेनानियों को सम्मान, जिसमें राजकीय इंटर कॉलेज द्वाराहाट का नाम स्वतंत्रता सेनानी डॉ. इंदर लाल साह के नाम पर और रामगढ़-कुनीगढ़ मोटर मार्ग का नाम शहीद सूबेदार भवानी दत्त जोशी के नाम पर किया जाएगा।

जागेश्वर प्रसादम योजना का शुभारंभ
मुख्यमंत्री ने जिलाधिकारी आलोक कुमार पांडेय की पहल पर हिमोत्थान योजना के तहत जागेश्वर प्रसादम योजना का भी शुभारंभ किया। इस योजना के तहत स्थानीय स्वयं सहायता समूहों की महिलाएं जागेश्वर धाम के लिए प्रसाद तैयार करेंगी। इसमें बाल मिठाई, तिल-चौलाई से बने उत्पाद और जागेश्वर धाम की प्रतिमा अंकित तांबे के सिक्के शामिल होंगे। इस पहल से महिलाओं की आजीविका को बढ़ावा मिलेगा और ताम्र उद्योग को नया आयाम मिलेगा।

महिलाओं और युवाओं को मिला प्रोत्साहन
मुख्यमंत्री ने राष्ट्रीय ग्रामीण आजीविका मिशन एवं हिमोत्थान योजना के तहत उत्कृष्ट कार्य कर रही स्वयं सहायता समूहों की महिलाओं को प्रोत्साहन राशि के चेक वितरित किए। उन्होंने कहा कि लखपति दीदी योजना के तहत महिलाओं को आत्मनिर्भर बनाने के लिए सरकार सतत कार्य कर रही है।

रोजगार पर जोर, तीन साल में 22,000 नौकरियां
मुख्यमंत्री ने कहा कि उत्तराखंड सरकार ने देश में सबसे कठोर नकल विरोधी कानून लागू कर उदाहरण पेश किया है। इस कानून के तहत 100 से अधिक अपराधियों को जेल भेजा गया है। इसके परिणामस्वरूप अब प्रतियोगी परीक्षाओं में युवाओं को निष्पक्ष अवसर मिल रहा है। उन्होंने कहा कि पिछले तीन वर्षों में 22,000 से अधिक सरकारी नौकरियों में युवाओं को नियुक्ति दी गई है।

इस अवसर पर केंद्रीय सड़क परिवहन राज्यमंत्री अजय टम्टा ने कहा कि मां अग्नेरी देवी क्षेत्र की कुलदेवी हैं और उनका यह स्थल ऐतिहासिक महत्त्व रखता है। उन्होंने मुख्यमंत्री द्वारा लिए गए कठोर नकल विरोधी कानून और भू-कानून की सराहना की। क्षेत्रीय विधायक मदन बिष्ट ने भी विभिन्न विकास कार्यों के लिए मुख्यमंत्री का आभार व्यक्त किया।
कार्यक्रम में विधायक रानीखेत डॉ. प्रमोद नैनवाल, दर्जाधारी मंत्री शिव सिंह बिष्ट, राज्य महिला उद्यमिता परिषद की उपाध्यक्ष गंगा बिष्ट, पलायन निवारण आयोग के सदस्य अनिल साही, नगर पंचायत अध्यक्ष रेवती देवी, जिलाधिकारी आलोक कुमार पांडेय, वरिष्ठ पुलिस अधीक्षक देवेंद्र पींचा, मुख्य विकास अधिकारी दिवेश शाशनी सहित बड़ी संख्या में अधिकारी, जनप्रतिनिधि और क्षेत्रवासी मौजूद रहे।

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