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DDA  दिवाली उत्सव: डीडीए के दिवाली उत्सव में दिखी सांस्कृतिक कार्यक्रम और लोक नृत्यों की धूम

डीडीए के गुलदस्ते में दिखे सभी राज्यों के फूल : Brigadier अमृत लाल

डीडीए निदेशक संदीप गुप्ता ने कहा जरूर जलाएं एक दीया शहीदों के नाम


मुख्यातिथि ब्रिगेडियर अमृत लाल (सेनि) ने किया कार्यक्रम का शुभारंभ

देहरादून। संदीप सर दून डिफेंस एकेडमी में आयोजित दिवाली उत्सव का दीप प्रज्ज्वलित कर मुख्यातिथि ब्रिगेडियर अमृत लाल (सेनि) ने कार्यक्रम का शुभारंभ करते हुए कहा कि आज डीडीए के गुलदस्ते में भारत के सभी राज्यों के फूल देखने को मिले। उन्होंने डीडीए के निदेशक संदीप गुप्ता के कार्यों की सराहना करते हुए कहा कि देश के लिए आपका योगदान देखकर आज मैं अचंभित हूँ। छात्रों का उत्साहवर्धन करते हुए उन्होंने कहा कि जो भाग्यशाली हैं और देश की सेवा करने का जज्बा रखते हैं, उन्हें आर्म्ड फोर्स ज्वाइन करने से कोई नहीं रोक सकता। इस मौके पर डीडीए के निदेशक संदीप गुप्ता ने अपने उद्बोधन में कहा कि आज ऐसे कई सैनिक परिवार होंगे, जिनके घर दिवाली नहीं मन रही होगी, तो आप एक दीया शहीदों के नाम जरूर जलाएं।

साथ ही कार्यक्रम के दौरान एनडीए व इंडियन एयर फोर्स में फाइनल सलेक्शन पर डीडीए डायमंड्स को परंपरा के अनुसार स्मृतिचिन्ह के साथ-साथ पुरस्कार के रूप में 20-20 हजार रूपये नगद व एनडीए, सीडीएस व एफकेटकी लिखित परीक्षा पास करने वाले डीडीए डायमंड्स को ईनाम के रूप में दो-दो हजार रूपये नगद प्रदान किया गए। साथ ही प्रथम पग के कक्षा 09वीं व 11वीं के मेधावी कैडेट्स को सम्मानित किया गया।

 

डीडीए के त्रिशक्ति परिसर में आयोजित दिवाली उत्सव का शुभारंभ डीडीए के कामंडेंट कर्नल सुधीर वर्मा (सेनि) के स्वागत भाषण से हुआ। सांस्कृतिक कार्यक्रम की शुरुआत में फॉउंडेशन कोर्स प्रथम पग के छात्रों द्वारा उत्तराखंड के पवित्र मिथकों, महाकाव्यों और लोक कथाओं पर आधारित शानदार लोकगीत प्रस्तुत किया गया। पंजाबी लोकगीत “पाँच नदियों की भूमि” को भी खूब सराहना मिली। जीवंत संस्कृति, समृद्ध इतिहास और अद्वितीय आकर्षण को दर्शाते हुए पश्चिम बंगाल के लोक नृत्य “भारत का सबसे मधुर भाग” ने जमकर तालियां बटोरी। उत्तर प्रदेश के लोक नृत्य “भारत का हृदय”, हिमाचल प्रदेश लोकगीत “हिमाचल प्रदेश स्वर्ग का मूर्त रूप है, आंध्र प्रदेश के लोकगीत “भव्य मंदिर से लेकर गर्मजोशी भरे आतिथ्य सत्कार व राजस्थान की विरासत, संस्कृति समृद्ध और जीवंत है, “रेगिस्तान की आत्मा हमारे खून में है” ने सभी को भावविभोर कर दिया। कक्षा बारहवीं के कैडेटों द्वारा शानदार लयबद्ध नृत्य, कक्षा ग्यारहवीं की बालिका कैडेटों द्वारा भांगड़ा व कक्षा नौवीं और दसवीं के कैडेटों द्वारा मंद-मंद नृत्य प्रस्तुत किया गया। कार्यक्रम के समापन पर डीडीए के डिप्यूटी कमांडेंट जतिन सेठी ने सभी का धन्यवाद दिया।

इस मौके पर डीडीए की उपनिदेशक दिव्या गुप्ता के साथ-साथ डीआईजी आईटीबीपी एसपी चमोली (सेनि), प्रथम पग के पूर्व प्रधानाचार्य डीएन थपलियाल, ग्रुप कप्तान संगीता कठैत, आशीष बलूनी, कर्नल अनिल गोरसी (सेनि) कप्तान दिगंबर प्रसाद बलूनी, अनिल चंदोला, आरएन असवाल , विनोद कुमार, के साथ-साथ गौरव पूर्व नौसैनिक व एईएमई कोर संस्था के सदस्य फेकल्टी व स्टाफ भी उपस्थित रहे।

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